अजमेर में नव संवत्सर पर 10 हजार घरों पर पताका लहराई। चौराहों पर प्रसाद की जगह मास्क बांटे।
चेटीचंड पर सिंधी समुदाय ने झूलेलाल महाराज की प्रतिमा को नगर भ्रमण करवाया। कोरोना के कारण नहीं निकला झांकियों वाला जुलूस।
श्री अग्रवाल पंचायती मारवाड़ी धड़ा के चुनाव में विवाद की स्थिति।
इस बार करोना संक्रमण का असर नव संवत्सर और चेटीचंड पर्व के आयोजन पर भी पड़ा है। नवसंवत्सर के अवसर पर प्रतिवर्ष अजमेर में अनेक आयोजन होते हैं। हिन्दू संगठनों के कार्यकर्ता चौराहों को सजा कर लोगों के तिलक लगाते हैं तथा मुंह मीठा करवाते हैं। लेकिन इस बार ऐसे आयोजन नहीं हो सके। चौराहों को सजाया तो गया, लेकिन प्रसाद की जगह नगर निगम के सहयोग से मास्क बांटे गए। नवसंवत्सर समारोह समिति के सरंक्षक सुनील दत्त जैन और अध्यक्ष निरंजन शर्मा ने बताया कि हिन्दू नववर्ष के अवसर पर इस बार शहर के 10 हजार घरों पर पताका लहराई गई है। राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के कार्यकर्ताओं ने घरों पर पताका लगाने का काम किया है। यह पर्व भारत की सनातन संस्कृति से जुड़ा हुआ है। हमारी सनातन संस्कृति में वर्ष की शुरुआत चैत्र माह के शुक्ल पक्ष से होती है। यह बात अलग है कि बाद अंकगणित के हिसाब से वर्ष की शुरुआत एक जनवरी से कर दी गई। हिन्दू पंचांग में माहों की स्थिति ग्रहों के अनुरूप है, जिसमें चन्द्रमा की महत्वपूर्ण भूमिका है। प्रकृति भी अपना स्वरूप हिन्दू पंचांग के अनुरूप ही बदलती है। उन्होंने कहा कि युवा पीढ़ी को हमारे नव संवत्सर से सीख लेनी चाहिए। नवसंवत्सर के आयोजनों के संबंध में और अधिक जानकारी मोबाइल नम्बर 9828171560 पर समिति के अध्यक्ष निरंजन शर्मा से ली जा सकती है।
झूलेलाल जी को करवाया नगर भ्रमण:
सिंधी समुदाय हिन्दू नववर्ष को आराध्य देव झूलेलाल महाराज के जन्मदिन के रूप में भी मनाता है। इस दिन शहर में सिंधी समुदाय का विशाल जुलूस निकाला जाता है। देहली गेट स्थित पुज्य लाल साहिब सेवा ट्रस्ट के महासचिव जयकिशन पारवानी ने बताया कि कोरोना की स्थिति को देखते हुए इस बार अजमेर में झांकियों का जुलूस नहीं निकाला गया है। आराध्य देव झूलेलाल महाराज की प्रतिमा को बहराणा साहिब के साथ नगर भ्रमण करवाया गया है। इस नगर भ्रमण में भी लोगों की संख्या सीमित रखी गई। नगर भ्रमण में देहली गेट स्थित मंदिर से शुरू हुआ और यही पर समाप्त हो गया।
चुनाव में विवाद की स्थिति:
अजमेर के श्री अग्रवाल पंचायती मारवाड़ी धड़ा के चुनाव में विवाद की स्थिति हो गई है। एक गुट के नेता आनंद प्रकाश गोयल का कहना है कि चुनाव अधिकारी टोडरमल अग्रवाल की देखरेख में संस्था की प्रबंध कार्यकारिणी के चुनाव 12 अप्रैल को हो गए, जो 13 सदस्य निर्वाचित हुए उन्होंने मुझे (आनंद प्राकश गोयल) अध्यक्ष चुन लिया। इसके साथ ही नरेन्द्र डिडवानिया को महामंत्री, राजकुमार जैतारणिया को कोषाध्यक्ष, सुशील कंदोई को भवन प्रबंधक, कैलाशचंद कंदोई को उपाध्यक्ष, प्रमोद डिडवानिया को सह सचिव तथा संजय कंदोई को मंदिर प्रबंधक चुना गया। जबकि चन्द्रप्रकाश डाणी, दिनेश परनामी, घनश्याम हसारिया, प्रहलाद गर्ग, आशीष डिडवानिया तथा नरेश हसारिया को सदस्य चुना गया। गोपाल ने चुनाव में विवाद की किसी भी स्थिति से इंकार किया है। गोपाल का कहना रहा कि चुनाव अधिकारी ने प्रमाण पत्र भी जारी कर दिया है। जबकि वहीं निवर्तमान अध्यक्ष दीपचंद श्रीया ने आरोप लगाया कि मतगणना में गड़बड़ी हुई है। श्रीया की मांग पर अब दोबारा से मतगणना करवाई जाएगी। वहीं चुनाव अधिकारी टोडरमल अग्रवाल ने गोपाल गुट को प्रमाण पत्र देने से इंकार किया है। उन्होंने कहा कि पुनर्मतगणना के बाद ही स्थिति स्पट हो सकेगी। मालूम हो कि श्रीअग्रवाल पंचायती मारवाड़ी धडा़ अजमेर के अग्रवालों की सबसे पुरानी संस्था है। इस संस्था के अंतर्गत डेढ़ सौ वर्ष पुराने जगदीश मंदिर का प्रबंधन भी आता है। गंज स्थित जनकपुरी समारोह स्थल भी इसी संस्था के अधीन है। दीपचंद श्रीया के कार्यकाल में जगदीश मंदिर और जनकपुरी समारोह स्थल पर अनेक विकास कार्य हुए हैं।