झुन्झुनू, नागौर और जैसलमेर के 6 लाइमस्टोन ब्लॉकों की नीलामी प्रक्रिया आरंभ -50 सालों में राज्य सरकार को 30666 करोड़ रु. की आय प्राप्त होने की संभावना -एसीएस, खान एवं पेट्रोलियम विभाग

Description

झुन्झुनू, नागौर और जैसलमेर के 6 लाइमस्टोन ब्लॉकों की नीलामी प्रक्रिया आरंभ-50 सालों में राज्य सरकार को 30666 करोड़ रु. की आय प्राप्त होने की संभावना-एसीएस, खान एवं पेट्रोलियम विभाग जयपुर, 9 नवंबर। राज्य के खान विभाग द्वारा झुन्झुनू, नागौर और जैसलमेर के 6 लाइमस्टोन ब्लॉकों की नीलामी प्रक्रिया आरंभ कर दी गई है। खान विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव डॉ. सुबोध अग्रवाल ने बताया कि इससे पहले लाइमस्टोन के जैसलमेर में परवर बी ब्लॉक व खीया ॥ ए ब्लॉक और नागौर के 4 जी ॥ ए ब्लॉक की नीलामी में अच्छा रेस्पासं मिलने से राज्य सरकार को अगले 50 सालों में 9483 करोड़ रुपए की आय प्राप्त होने की संभावना है। उन्होंने बताया कि पिछले दिसंबर और फरवरी में नीलाम किए गए इन ब्लॉकों से राज्य सरकार को अब तक 11 करोड़ 49 करोड़ की आय प्राप्त हो चुकी है।एसीएस माइंस, पेट्रोलियम एवं एनर्जी डॉ. सुबोध अग्रवाल मंगलवार को सचिवालय में माइंस विभाग की समीक्षा बैठक ले रहे थे। उन्होंने बताया कि लाइमस्टोन के झुन्झुनू मेें दो, नागौर में 3 और जैसलमेर में एक ब्लॉक की नीलामी प्रक्रिया शुरु की गई है। इन 6 ब्लाकों का कुल 2294 हैक्टेयर क्षेत्रफल है। माइंस विभाग द्वारा अब तक नीलाम किए गए लाइमस्टोन के आठ ब्लॉकों से एक मोटे अनुमान के अनुसार 50 सालों में राज्य सरकार को 30666 करोड़ रु. की आय प्राप्त होने की संभावना है।डॉ. अग्रवाल ने कहा कि राज्य में अवैध खनन को रोकने का सबसे कारगर तरीका खनिज ब्लॉक विकसित कर उनकी प्राथमिकता से नीलामी करना है ताकि खनिजों का अवैध खनन रोका जा सके। उन्होंने निर्देश दिए कि आयरन और के सीकर व भीलवाड़ा तथा लाइम स्टोन के चित्तौड़गढ और नागौर के ब्लॉकों के नीलामी की आवश्यक तैयारियां शीघ्र पूरी की जाए ताकि इन ब्लॉकोे की नीलामी का कार्य भी आरंभ हो सके। उन्होंने बताया कि 553 हैक्टेयर क्षेत्र के 311 अप्रधान खनिज प्लॉट्स की सफल नीलामी से विभाग में उत्साह का वातावरण बना है। उन्होंने बताया कि भारत सरकार के ईपोर्टल पर नीलामी से जहां पारदर्शिता आई है वहीं देश दुनिया में कोई भी व्यक्ति नीलामी प्रक्रिया में हिस्सा लेने की सुविधा से स्वस्थ्य प्रतिस्पर्धा बन रही है।डॉ. अग्रवाल ने बताया कि राज्य में प्रधान और अप्रधान खनिजों को विपुल भण्डार है और लेड जिंक जैसे कई खनिजों के तो राजस्थान में समूचे देश में सबसे अधिक भण्डार है। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री श्री अशोक गहलोत के निर्देशों के अनुसार विभाग को खनिजों के खोज और खनन कार्य को गति देनी है।निदेशक माइंस श्री केबी पण्ड्या ने विस्तार से विभागीय गतिविधियों व उपलब्धियों की जानकारी दी। उन्होेंंने बताया कि विभाग द्वारा राजस्व बढ़ोतरी के प्रयासाें के साथ ही अवैध गतिविधियों पर प्रभावी कार्यवाही के प्रयास किए जा रहे हैं।बैठक में संयुक्त सचिव श्री राजेन्द्र मक्कड, अतिरिक्त निदेशकों मेें श्री हर्ष सावनसुखा, श्री नरेन्द्र कोठ्यारी, श्री देवेन्द्र गौड, श्री बीएस सोढ़ा, श्री महेश माथुर एसएमई श्री प्रताप मीणा सहित वरिष्ठ अधिकारियों ने हिस्सा लिया।—-